क्या होता है यूरिक अम्ल ? What is Uric Acid ?
यूरिक एसिड : कार्बन,हाईड्रोजन,आक्सीजन और नाईट्रोजन तत्वों से बना यह योगिक जिस का अणुसूत्र C5H4N4O3.यह एक विषमचक्रीय योगिक है जो कि शरीर को प्रोटीन से एमिनोअम्ल के रूप मे प्राप्त होता है.
प्रोटीनों से प्राप्त ऐमिनो अम्लों को चार प्रमुख वर्गों में विभक्त किया गया है
1. उदासीन ऐमिनो अम्ल
2. अम्लीय ऐमिनो अम्ल
3. क्षारीय ऐमिनो अम्ल
4. विषमचक्रीय ऐमिनो अम्ल.
यह आयनों और लवण के रूप मे यूरेट और एसिड यूरेट जैसे अमोनियम एसिड यूरेट के रूप में शरीर मे उपलब्ध है.
प्रोटीन एमिनो एसिड के संयोजन से बना होता है। पाचन की प्रक्रिया के दौरान जब प्रोटीन टूटता है तो शरीर में यूरिक एसिड बनता है जब शरीर मे प्यूरीन न्यूक्लिओटाइडों टूट जाती है तब भी यूरिक एसिड बनता है.
प्युरीन क्रियात्मक समूह होने के कारण यूरिक अम्ल एरोमेटिक योगिक होते हैं.
शरीर मे यूरिक अम्ल का स्तर बढ़ जाने की स्तिथि को hyperuricemia कहते हैं.
हम प्रोटीन कहाँ से प्राप्त करते है और प्रोटीन क्यों जरूरी हो शरीर के लिए ये जानना भी जरूरी हो जाता है अब ?
मनुष्यों और अन्य जीव जंतुओं के लिए प्रोटीन बहुत जरूरी आहार है. इससे शरीर की नयी कोशिकाएँ और नये ऊतक बनते हैं पुरानी कोशिकाओं और उत्तको की टूटफूट की मरम्मत के लिए प्रोटीन बहुत जरूरी आहार है. प्रोटीन के अभाव से शरीर कमजोर हो जाता है और कईं रोगों से ग्रसित होने की संभावना बढ़ जाती है। प्रोटीन शरीर को ऊर्जा भी प्रदान करता है.
वृद्धिशील शिशुओं,बच्चो,किशोरों और गर्भवती स्त्रियों के लिए अतरिक्त प्रोटीन भोजन की मांग ज्यादा होती है परन्तु 25 वर्ष की आयु के बाद कम शारीरिक श्रम करने वाले व्यक्तियों के लिए अधिक मात्रा मे प्रोटीन युक्त भोजन लेना उनके लिए यूरिक अम्लों की अधिकताजन्य दिक्कतों का खुला निमंत्रण साबित होते हैं.
रेड मीट(लाल रंग के मांस), सी फूड, रेड वाइन, दाल, राजमा, मशरूम, गोभी, टमाटर, पालक, मटर,पनीर,भिन्डी,अरबी,चावल आदि के अधिक मात्रा में सेवन से भी यूरिक एसिड बढ जाता है।
उच्च यूरिक एसिड के कारण :
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विषमचक्रीय ऐमिनो अम्ल |
प्रोटीनों से प्राप्त ऐमिनो अम्लों को चार प्रमुख वर्गों में विभक्त किया गया है
1. उदासीन ऐमिनो अम्ल
2. अम्लीय ऐमिनो अम्ल
3. क्षारीय ऐमिनो अम्ल
4. विषमचक्रीय ऐमिनो अम्ल.
यह आयनों और लवण के रूप मे यूरेट और एसिड यूरेट जैसे अमोनियम एसिड यूरेट के रूप में शरीर मे उपलब्ध है.
प्रोटीन एमिनो एसिड के संयोजन से बना होता है। पाचन की प्रक्रिया के दौरान जब प्रोटीन टूटता है तो शरीर में यूरिक एसिड बनता है जब शरीर मे प्यूरीन न्यूक्लिओटाइडों टूट जाती है तब भी यूरिक एसिड बनता है.
प्युरीन क्रियात्मक समूह होने के कारण यूरिक अम्ल एरोमेटिक योगिक होते हैं.
शरीर मे यूरिक अम्ल का स्तर बढ़ जाने की स्तिथि को hyperuricemia कहते हैं.
हम प्रोटीन कहाँ से प्राप्त करते है और प्रोटीन क्यों जरूरी हो शरीर के लिए ये जानना भी जरूरी हो जाता है अब ?
मनुष्यों और अन्य जीव जंतुओं के लिए प्रोटीन बहुत जरूरी आहार है. इससे शरीर की नयी कोशिकाएँ और नये ऊतक बनते हैं पुरानी कोशिकाओं और उत्तको की टूटफूट की मरम्मत के लिए प्रोटीन बहुत जरूरी आहार है. प्रोटीन के अभाव से शरीर कमजोर हो जाता है और कईं रोगों से ग्रसित होने की संभावना बढ़ जाती है। प्रोटीन शरीर को ऊर्जा भी प्रदान करता है.
वृद्धिशील शिशुओं,बच्चो,किशोरों और गर्भवती स्त्रियों के लिए अतरिक्त प्रोटीन भोजन की मांग ज्यादा होती है परन्तु 25 वर्ष की आयु के बाद कम शारीरिक श्रम करने वाले व्यक्तियों के लिए अधिक मात्रा मे प्रोटीन युक्त भोजन लेना उनके लिए यूरिक अम्लों की अधिकताजन्य दिक्कतों का खुला निमंत्रण साबित होते हैं.
रेड मीट(लाल रंग के मांस), सी फूड, रेड वाइन, दाल, राजमा, मशरूम, गोभी, टमाटर, पालक, मटर,पनीर,भिन्डी,अरबी,चावल आदि के अधिक मात्रा में सेवन से भी यूरिक एसिड बढ जाता है।
उच्च यूरिक एसिड के कारण :
शरीर में यूरिक ऐसिड बढ़ने के कई कारण हो सकते हैं
>भोजन के रूप मे लिए जाने वाले प्रोटीन प्युरीन और साथ मे उच्च मात्रा मे शर्करा का लिया जाना रक्त मे यूरिक एसिड की मात्रा को बढाता है.
>कई लोगों मे वंशानुगत कारणों को भी यूरिक एसिड के ऊँचे स्तर के लिए जिम्मेवार माना गया है.
गुर्दे द्वारा सीरम यूरिक एसिड के कम उत्सर्जन के कारण भी इसका स्तर रक्त मे बढ़ जाता है.
>उपवास या तेजी से वजन घटाने की प्रक्रिया मे भी अस्थायी रूप से यूरिक एसिड का स्तर आश्चर्यजनक स्तर तक वृद्धि कर जाता हैं.
>रक्त आयरन की अधिकता भी यूरेट स्तर को बढ़ाती है जिस पर आयरन त्याग यानी रक्तदान से नियंत्रण किया जा सकता है.
> पेशाब बढ़ाने वाली दवाएं या डायबटीज़ की दवाओं के प्रयोग से भी यूरिक ऐसिड बढ़ सकता है.
उच्च यूरिक एसिड के नुकसान :
>इसका सबसे बड़ा नुकसान है शरीर के छोटे जोड़ों मे दर्द जिसे गाउट रोग के नाम से जाना जाता है.
मान लो आप की उम्र 25 वर्ष से ज्यादा है और आप उच्च आहारी हैं रात को सो कर सुबह जागने पर आप महसूस करते है कि आप के पैर और हाथों की उँगलियों अंगूठों के जोड़ो मे हल्की हल्की चुभन जैसा दर्द है तो आप को यह नहीं मान लेना चाहिये कि यह कोई थकान का दर्द है आप का यूरिक एसिड स्तर बड़ा हुआ हो सकता है. तो अगर कभी आपके पैरों की उंगलियों, टखनों और घुटनों में दर्द हो तो इसे मामूली थकान की वजह से होने वाला दर्द समझ कर अनदेखा न करें यह आपके शरीर में यूरिक एसिड बढने का लक्षण हो सकता है. इस स्वास्थ्य समस्या को गाउट आर्थराइट्सि कहा जाता है.
>अगर व्यक्ति की किडनी भीतरी दीवारों की लाइनिंग क्षतिग्रस्त हो तो ऐसे में यूरिक एसिड बढने की वजह से किडनी में स्टोन भी बनने लगता है.
गाउट आर्थराइट्सि गठिया का एक रूप :
गाउट एक तरह का गठिया रोग ही होता है.
जिस के कारण शरीर के छोटे ज्वाईन्ट्स प्रभावित होते .हैं
विशेषकर पैरों के अंगूठे का जोड़ और उँगलियों के जोड़ व उँगलियों मे जकड़न रहती है.
हालाँकि इससे एड़ी, टख़ने, घुटने, उंगली, कलाई और कोहनी के जोड़ भी प्रभावित हो सकते हैं.
इसमें बहुत दर्द होता है.
जोड़ पर सुर्ख़ी और सूजन आ जाती है और बुख़ार भी आ जाता है.
यह शरीर में यूरिक ऐसिड के बढ़ने से पैदा होती है.
(पेशियों में जमा यूरिक एसिड क्रिस्टल, मस्क्युलर रिह्यूमेटिज्म के रूप में सामने आता है, तो जोड़ों के बीच जमा एसिड क्रिस्टल आरथ्राइटिस के रूप में जोड़ों के बीच एसिड क्रिस्टल जमा होने से चलने-फिरने पर चुभने जैसा दर्द और टीस होती है जोड़ों में जकड़न आ सकती है.)
यह बढ़ा हुआ यूरिक एसिड रक्त के साथ शरीर के अन्य स्थानों मे पहुँच जाता है.
खास तौर पर हड्डियों के संधि भागों मे जाकर रावों के रूप मे जमा होना शुरू हो जता है.
यह जन्म देती है साध्य रोग शरीर के छोटे जोड़ों मे दर्द गाउट Gout को.
>भोजन के रूप मे लिए जाने वाले प्रोटीन प्युरीन और साथ मे उच्च मात्रा मे शर्करा का लिया जाना रक्त मे यूरिक एसिड की मात्रा को बढाता है.
>कई लोगों मे वंशानुगत कारणों को भी यूरिक एसिड के ऊँचे स्तर के लिए जिम्मेवार माना गया है.
गुर्दे द्वारा सीरम यूरिक एसिड के कम उत्सर्जन के कारण भी इसका स्तर रक्त मे बढ़ जाता है.
>उपवास या तेजी से वजन घटाने की प्रक्रिया मे भी अस्थायी रूप से यूरिक एसिड का स्तर आश्चर्यजनक स्तर तक वृद्धि कर जाता हैं.
>रक्त आयरन की अधिकता भी यूरेट स्तर को बढ़ाती है जिस पर आयरन त्याग यानी रक्तदान से नियंत्रण किया जा सकता है.
> पेशाब बढ़ाने वाली दवाएं या डायबटीज़ की दवाओं के प्रयोग से भी यूरिक ऐसिड बढ़ सकता है.
उच्च यूरिक एसिड के नुकसान :
>इसका सबसे बड़ा नुकसान है शरीर के छोटे जोड़ों मे दर्द जिसे गाउट रोग के नाम से जाना जाता है.
मान लो आप की उम्र 25 वर्ष से ज्यादा है और आप उच्च आहारी हैं रात को सो कर सुबह जागने पर आप महसूस करते है कि आप के पैर और हाथों की उँगलियों अंगूठों के जोड़ो मे हल्की हल्की चुभन जैसा दर्द है तो आप को यह नहीं मान लेना चाहिये कि यह कोई थकान का दर्द है आप का यूरिक एसिड स्तर बड़ा हुआ हो सकता है. तो अगर कभी आपके पैरों की उंगलियों, टखनों और घुटनों में दर्द हो तो इसे मामूली थकान की वजह से होने वाला दर्द समझ कर अनदेखा न करें यह आपके शरीर में यूरिक एसिड बढने का लक्षण हो सकता है. इस स्वास्थ्य समस्या को गाउट आर्थराइट्सि कहा जाता है.
>अगर व्यक्ति की किडनी भीतरी दीवारों की लाइनिंग क्षतिग्रस्त हो तो ऐसे में यूरिक एसिड बढने की वजह से किडनी में स्टोन भी बनने लगता है.
गाउट आर्थराइट्सि गठिया का एक रूप :
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स्रोत: health.howstuffworks.com |
जिस के कारण शरीर के छोटे ज्वाईन्ट्स प्रभावित होते .हैं
विशेषकर पैरों के अंगूठे का जोड़ और उँगलियों के जोड़ व उँगलियों मे जकड़न रहती है.
हालाँकि इससे एड़ी, टख़ने, घुटने, उंगली, कलाई और कोहनी के जोड़ भी प्रभावित हो सकते हैं.
इसमें बहुत दर्द होता है.
जोड़ पर सुर्ख़ी और सूजन आ जाती है और बुख़ार भी आ जाता है.
यह शरीर में यूरिक ऐसिड के बढ़ने से पैदा होती है.
(पेशियों में जमा यूरिक एसिड क्रिस्टल, मस्क्युलर रिह्यूमेटिज्म के रूप में सामने आता है, तो जोड़ों के बीच जमा एसिड क्रिस्टल आरथ्राइटिस के रूप में जोड़ों के बीच एसिड क्रिस्टल जमा होने से चलने-फिरने पर चुभने जैसा दर्द और टीस होती है जोड़ों में जकड़न आ सकती है.)
यह बढ़ा हुआ यूरिक एसिड रक्त के साथ शरीर के अन्य स्थानों मे पहुँच जाता है.
खास तौर पर हड्डियों के संधि भागों मे जाकर रावों के रूप मे जमा होना शुरू हो जता है.
यह जन्म देती है साध्य रोग शरीर के छोटे जोड़ों मे दर्द गाउट Gout को.
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जोड़ो मे जमा यूरिक एसिड के क्रिस्टल |
अगर यूरिक ऐसिड बढ़ जाए तो वह बहुत नन्हें-नन्हे क्रिस्टलों के रूप में जमा हो जाता है.
हड्डियों मे ख़ासतौर से जोड़ों के आस पास.
ये क्रिस्टल बहुत ही धारदार होते हैं.
जो की जोड़ों की चिकनी झिल्ली में चुभते हैं.
चुभन और भयंकर दर्द पैदा करते हैं.
गाउट रोग के कारण जोड़ों को घुमाने या गति उत्पन्न करने में कठिनाई महसूस होती है.
ठंडी या शीत हवाओं के कारण पीड़ा बढ़ जाती है.
इसकी सबसे बड़ी पहचान यह है की इसमें रात में दर्द बढ़ जाता है और सुबह शरीर अकड़ता है.
बढ़ी हुई यूरिक एसिड की मात्रा भविष्य मे कईं अन्य रोगों का कारण बनती है जैसे,
गुर्दे मे पथरी
मधुमेह (डायबिटीज़)
कार्डियोवस्कुलर रोग
मेटाबोलिक सिंड्रोम
> शाकाहारी बने.
> पोटाशियम युक्त भोजन पर केला नहीं.
> काबू ना आने पर चिकित्सक के परामर्श से दवाईयां लेना ना भूलें.
खीरे के हरे जूस को इसके निवारण का बेहतर उपाय माना गया है
देखें यह लिंक
http://fitlife.tv/how-to-remove-uric-acid-crystalization-in-joints-gout-and-joint-pain/
गाउट रोग के कारण जोड़ों को घुमाने या गति उत्पन्न करने में कठिनाई महसूस होती है.
ठंडी या शीत हवाओं के कारण पीड़ा बढ़ जाती है.
इसकी सबसे बड़ी पहचान यह है की इसमें रात में दर्द बढ़ जाता है और सुबह शरीर अकड़ता है.
बढ़ी हुई यूरिक एसिड की मात्रा भविष्य मे कईं अन्य रोगों का कारण बनती है जैसे,
गुर्दे मे पथरी
मधुमेह (डायबिटीज़)
कार्डियोवस्कुलर रोग
मेटाबोलिक सिंड्रोम
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http://www.ehow.com/info_8070243_foods-remove-acid-system.html |
बचाव :
>यह प्रयास करें कि अधिक से अधिक मात्रा में पानी पीया जाए, इससे रक्त में मौजूद अतिरिक्त यूरिक एसिड मूत्र के द्वारा शरीर से बाहर निकल जाता है.
> यदि दर्द बहुत ज्यादा है तो दर्द वाले स्थान पर बर्फ को कपडे मे लपेट कर सिंकाई करने से फायदा होता है.
खान-पान की आदत बदलें शरीर में जमा अतिरिक्त यूरिक एसिड को उदासीन करने के लिए खानपान में क्षारीय पदार्थों की मात्रा को बढ़ाना चाहिए। फलों, हरी सब्जियों, मूली का जूस, दूध, बिना पॉलिश किए गए अनाज इत्यादि में अल्कली की मात्रा अधिक होती है
> हमें संतुलित आहार लेंना चाहिए, कार्बोहइड्रेट, प्रोटीन, वसा, विटमिन और खनिज सब कुछ सीमित और संतुलित मात्रा में होना चाहिए.आम तौर पर शाकाहारी भोजन(दाल-चावल, रोटी, सब्जी) संतुलित होता है और उसमें ज्यादा फेर-बदल की जरूरत नहीं होती.
> नियमित व्ययाम इस समस्या से बचने का सबसे आसान उपाय है क्योंकि इससे शरीर में अतिरिक्त प्रोटीन जमा नहीं हो पाता.
> इस समस्या से ग्रस्त लोगों को नियमित रूप से दवाओं का सेवन करते हुए, हर छह माह के अंतराल पर यूरिक एसिड की जांच करानी चाहिए. > शाकाहारी बने.
> पोटाशियम युक्त भोजन पर केला नहीं.
> काबू ना आने पर चिकित्सक के परामर्श से दवाईयां लेना ना भूलें.
खीरे के हरे जूस को इसके निवारण का बेहतर उपाय माना गया है
देखें यह लिंक
http://fitlife.tv/how-to-remove-uric-acid-crystalization-in-joints-gout-and-joint-pain/
21 टिप्पणियां:
बहुत विस्तार से समझाया है आपने। अच्छा लगा। आभार।
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आप चलेंगे इस महाकुंभ में...?
...खींच लो जुबान उसकी।
काफी उपयोगी जानकारी दी है आपने ...आभार
बड़ा अच्छा बताया श्रीमान्। पर भगवान बचाए ऐसे रोगों से!
बेहद ही महत्व पूर्ण जानकारी देने के लिए धन्यवाद्, इस तरह की जानकारी इन्टरनेट पर वह भी हिंदी में मिल रही है, आप धन्यवाद् के पात्र है न की केवल इसी पोस्ट के लिए, बल्कि पुरे ब्लॉग के लिए, एक बार फिर से धन्यवाद,और हा मई इस ब्लॉग को फोल्लो कर रहा हूँ,
यहाँ सबकुछ कैनवास है
What can I do?my uric acid leval is 9 raj 08271592323
What can I do my ur acid leval is 9
Sir my age is 21 year and my uric acid level is 9 whay can I do plz tell me at 09466871471
Acha btaya h par medicine k bare m b likha hona chahiye
Sir i am 32 year old man and my uric acid level is 7.3 please suggest me what can i do please 9967786579
Sir i am 32 year old man and my uric acid level is 7.3 please suggest me what can i do please 9967786579
Sir I am 34 year okd man and my uric acid level is 6.3 please suggest me 9358381512 I am shadab khan
कई लोगो को इस बीमारी का वीस्तार से पता नहीं था पर इस पोस्ट से बचाव और भविष्य में किस तरह का आयोजन खान पान का हो वो समजाया हे में दिल से धन्यवाद देता हु
mai19years ka hu mera uric acid lebal 11 hai kya karu mera cell no. 8718949383 hai watsup me bhi chat ho sakta hai
आपके इस सहयोग के लिए बहुत बहुत आभार
बेहद उपयोगी जानकारी !!
यह जानकारी मूल्यवान है कि शाकाहारी भोजन संतुलित होता है।
बहुत ही आभार।
Uric acid
Thanks
Hello sir meri age 34 year hai mera uric acid level 6 mahine pahle 8.6 tha aur dawa ke seven se 4.6 hai aur doctor ab dava band karne ko kaha hai lekin abhi bhi halka sa dard hota hai mujhe iske liye salah dijiye
Good
hello sir meri age 29 hai mera uric acid 5.6 hai. mere hatho or pairo mai bahut dard hota hai. mujhe kya karna hoga jisse mera uric acid normal ho jay
नमस्कार
मेरी अगले बार शादी होने वाली है | मेरे लिए जो लड़की मैंने पसंद की है उसे पिछले 4 साल से यूरीक एसीड, जोड़ों में दर्द की प्रॉब्लम है | क्या यह पूरी तरह से ठीक हो सकता है ? क्या इससे मेरे वैवाहिक जीवन पर फर्क पड़ेगा | यह सब सोचकर मैं बहुत परेशान रहता हूं, कृपया मुझे मार्गदर्शन करें.
gopal291990@gmail.com
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